1 of 2 parts

वायु नलिकाओं में सूजन से होता है दमा

By: Team Aapkisaheli | Posted: 10 May, 2019

वायु नलिकाओं में सूजन से होता है दमा
वायु नलिकाओं में सूजन से होता है दमा
नई दिल्ली। अस्थमा (दमा) फेफड़ों की वायु नलिकाओं में सूजन के कारण होता है, जिसमें बार-बार घरघराहट और सांस फूलती है। अस्थमा का सबसे प्रमुख कारण परिवार में अस्थमा का इतिहास होना भी है। हालांकि, वायु प्रदूषण, घरेलू एलर्जी जैसे बिस्तर में खटमल, स्टफ्ड फर्नीचर, तंबाकू का धुआं और रासायनिक पदार्थ अस्थमा के प्रमुख कारकों में शामिल हैं।
विभिन्न वजहों से होने वाले अस्थमा के भी कई प्रकार होते हैं जैसे एडल्ट ऑनसेट अस्थमा, एलर्जिक ऑक्यूपेशनल अस्थमा, व्यायाम से होने वाला अस्थमा और गंभीर (सीवियर) अस्थमा इत्यादि। पुराने अस्थमा का अमूमन निरंतर दवाओं द्वारा इलाज किया जाता है। लेकिन गंभीर लक्षणों को नियंत्रित करने के लिए अधिक उन्नत उपचार की आवश्यकता होती है। अस्थमा से ग्रसित लोगों की कुल आबादी में गंभीर अस्थमा से ग्रस्त लोग तकरीबन 8-10 प्रतिशत है।

दुनिया के 20 सर्वाधिक प्रदूषित शहरों में से 13 भारत में हैं। भारत में वायु प्रदूषण ने स्वास्थ्य संकट को जन्म दिया है। इस मामले में, भारत में अस्थमा कुल जनसंख्या के लगभग 15 से 20 प्रतिशत लोगों यानी तकरीबन 3 करोड़ लोगों पर असर डाल रहा है। आने वाले वर्षों में, बढ़ते प्रदूषण का स्तर इस संख्या को सैकड़ों-लाखों में बढ़ा सकता है।

नोएडा स्थित मेट्रो रेस्पिरेटरी सेंटर के वरिष्ठ सलाहकार और चेयरमैन डॉ. दीपक तलवार कहते हैं, ‘‘जिन लोगों को इनहेलर्स लेने के बावजूद 1-2 महीने तक घरघराहट या खांसी आती रहती है, वे गंभीर अस्थमा की श्रेणी में आते हैं। जो मरीज अस्थमा को नियंत्रित करने के लिए वर्ष में दो बार से अधिक ओरल स्टेरॉयड लेते हैं वे भी अस्थमा की गंभीर श्रेणी में आते हैं और अंतर्निहित सूजन को नियंत्रित करने के लिए लंबे समय तक रोज दवा की आवश्यकता होती है।’’

उन्होंने कहा कि अगर मानक उपचार रोगी के लक्षणों को लगभग 3 से 6 महीने तक नियंत्रित करने में विफल रहता है, तो इसे एक गंभीर अस्थमा का मामला  माना जाता है। उन्हें ब्रोन्कियल थर्मोप्लास्टी जैसे चिकित्सकीय हस्तक्षेप की आवश्यकता होती है।

डॉ. तलवार के मुताबिक, अच्छी खबर यह है कि स्वास्थ्य सेवाओं में नवाचारों ने उन रोगियों के लिए गंभीर अस्थमा के लक्षणों का उपचार करना आसान बना दिया है जो लंबे समय से दवाओं पर भरोसा करते आए हैं। इस क्षेत्र में एक अग्रणी आविष्कार, ब्रोन्कियल थर्मोप्लास्टी गंभीर अस्थमा से पीडि़त लोगों के लिए सबसे भरोसेमंद विकल्पों में से एक के रूप में उभरी है, जो कि अधिकतम चिकित्सा उपचार के बावजूद अस्थमा के लक्षणों से ग्रस्त हैं।

उन्होंने कहा कि सामान्य श्वास के साथ, फेफड़ों के वायुमार्ग पूरी तरह से खुले होते हैं। गंभीर अस्थमा वाले लोगों में  वायुमार्ग की अत्यधिक चिकनी मांसपेशियां होती हैं जो उनके वायुमार्ग की परिक्रमा करती हैं। वायुमार्ग की सूजन के साथ यह अतिरिक्त मांसपेशी वायुमार्ग की दीवारों को मोटा बनाने के लिए जुड़ जाती हैं। अस्थमा के दौरे के दौरान, वायुमार्ग की चिकनी मांसपेशी सिकुड़ जाती है, जिससे सांस लेने में कठिनाई होती है।

डॉ. तलवार कहते हैं कि ब्रोन्कियल थर्मोप्लास्टी के दौरान, एक छोटी लचीली ट्यूब को मुंह या नाक के माध्यम से रखे गए एक मानक लचीले ब्रोन्कोस्कोप के माध्यम से वायुमार्ग में लगाया जाता है। उपचार वायुमार्ग की दीवारों को नियंत्रित तापीय ऊर्जा प्रदान करके वायुमार्ग में स्मूद मसल मास को कम करता है। यह तीन ब्रोंकोस्कोपी में किया जाता है।


# 5 घरेलू उपचार,पुरूषों के बाल झडना बंद


वायु नलिकाओं में सूजन से होता है दमा Next
Inflammation, air ducts causes, asthma, अस्थमा

Mixed Bag

  • जन्माष्टमी पर श्री कृष्ण को लगाएं मक्खन का भोग, घर पर बनाकर करें तैयारजन्माष्टमी पर श्री कृष्ण को लगाएं मक्खन का भोग, घर पर बनाकर करें तैयार
    जन्माष्टमी पर श्री कृष्ण को मक्खन का भोग लगाना एक पारंपरिक और प्रिय परंपरा है। भगवान कृष्ण को मक्खन बहुत......
  • बरसाती मौसम में खराब होने लगता है आटा, तो इस तरह करें स्टोरबरसाती मौसम में खराब होने लगता है आटा, तो इस तरह करें स्टोर
    बरसाती मौसम में आटा जल्दी खराब होने लगता है क्योंकि इस मौसम में नमी अधिक होती है। नमी के कारण आटे में कीड़े लगने लगते हैं और यह खराब हो जाता है। आटे को खराब होने से बचाने के लिए, इसे सूखे और ठंडे स्थान पर रखना चाहिए। आटे को एयरटाइट कंटेनर में भरकर रखें और इसे धूप में सुखाएं। इससे आटे में नमी नहीं आएगी और यह लंबे समय तक ताज़ा रहेगा। इसके अलावा, आटे को फ्रिज में भी रखा जा सकता है, जिससे यह जल्दी खराब नहीं होगा। बरसाती मौसम में आटे को सही तरीके से स्टोर करने से आप इसका उपयोग लंबे समय तक कर सकते हैं और अपने परिवार के लिए स्वादिष्ट भोजन बना सकते हैं।...
  • चेहरे पर जमा हो गई है गंदगी, तो इस तरह घरेलू तरीकों से करें क्लीनचेहरे पर जमा हो गई है गंदगी, तो इस तरह घरेलू तरीकों से करें क्लीन
    चेहरे पर जमा हो गई गंदगी को साफ करना बहुत जरूरी है। जब हम अपने चेहरे को नियमित रूप से नहीं धोते हैं या सही तरीके......
  • बस एक लीटर दूध में बन जाएगा स्पंजी रसगुल्ला, इस रेसिपी से घर पर बनाएंबस एक लीटर दूध में बन जाएगा स्पंजी रसगुल्ला, इस रेसिपी से घर पर बनाएं
    रसगुल्ला एक पारंपरिक बंगाली मिठाई है जो दूध से बनाई जाती है। यह मिठाई अपने स्वाद और कोमलता के लिए प्रसिद्ध है। रसगुल्ला बनाने के लिए आपको बस एक लीटर दूध की आवश्यकता होगी, जिसे आप छैना में बदलकर गोल आकार के रसगुल्ले बना सकते हैं। इन रसगुल्लों को चीनी के चाशनी में पकाने से वे स्वादिष्ट और स्पंजी बन जाते हैं। रसगुल्ला बनाने की प्रक्रिया आसान है और इसे घर पर आसानी से बनाया जा सकता है। आप रसगुल्ले को ठंडा परोस सकते हैं और इसका आनंद ले सकते हैं। रसगुल्ला एक लोकप्रिय मिठाई है जो त्योहारों और विशेष अवसरों पर परोसी जाती है। इसकी मिठास और कोमलता इसे एक अद्वितीय मिठाई बनाती है जो हर किसी को पसंद आती है।...

Ifairer