गाजीपुर में टिकैत से मिलने नेताओं की होड़
By: Team Aapkisaheli | Posted: 30 Jan, 2021
नई दिल्ली। विभिन्न राजनीतिक दलों से जुड़े कई नेताओं ने भारतीय किसान
यूनियन नेता राकेश टिकैत के साथ एकजुटता दिखाने के लिए शनिवार को गाजीपुर
सीमा का दौरा किया। गाजीपुर प्रदर्शन स्थल किसान आंदोलन का प्रमुख केंद्र
बनकर उभरा है। राकेश पश्चिमी उत्तर प्रदेश के लोकप्रिय किसान नेता महेंद्र
सिंह टिकैत के बेटे हैं, जिन्होंने 30 साल पहले दिल्ली के बोट क्लब में एक
विशाल किसान रैली की थी। गुरुवार को उनकी भावुक अपील ने किसान आंदोलन के
रूख को मोड़ दिया, जिसे किसान आंदोलन के एक महत्वपूर्ण मोड़ के रुप में
देखा जा रहा है।
टिकैत के भाषण से पहले अधिकांश किसान पहले से ही
बड़े पैमाने पर पुलिस की उपस्थिति से भयभीत थे और साइट छोड़ना शुरू कर दिया
था, लेकिन टिकैत के भाषण ने उन्हें आंदोलन में फिर से शामिल होने के लिए
प्रेरित किया।
गाजीपुर की सीमा तक पहुंचने वाले सबसे पहले नेता पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के पोते जयंत चौधरी थे।
उन्होंने
कहा कि राष्ट्रीय लोकदल के अध्यक्ष पूर्व केंद्रीय मंत्री अजीत सिंह ने
कहा है कि यह किसानों के लिए करो या मरो की स्थिति है और हमें इसके लिए
एकजुट होना होगा।
इसके अलावा, उत्तर प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष
अजय कुमार लल्लू, दिल्ली कांग्रेस की नेता अलका लांबा और हरियाणा के
कांग्रेस सांसद दीपेंद्र हुड्डा भी टिकैत को समर्थन देने के लिए गाजीपुर की
सीमा पर गए।
शनिवार को दिल्ली कांग्रेस के प्रमुख अनिल कुमार चौधरी
ने भी विरोध स्थल का दौरा किया और कहा कि कांग्रेस किसानों के समर्थन में
है।
कांग्रेस नेता और पार्टी के पूर्व प्रमुख राहुल गांधी ने
शुक्रवार को फिर से कहा कि पार्टी किसानों के मुद्दे का जल्द समाधान चाहती
है।
कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने भी राकेश टिकैत से बात की और किसानों के लिए अपना समर्थन व्यक्त किया। (आईएएनएस)
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